मुंबई । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2019 के लोकसभा चुनाव में शानदार जीत दर्ज कर न्यू इंडिया के प्रति अपने दृष्टिकोण को स्पष्ट कर दिया है। भाजपा व उनके सहयोगी दल दूसरी बार पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बना रहे हैं, इससे यह बात पूर्ण रूप से स्पष्ट है कि लोग बदलाव चाहते हैं और उन्होंने भारत देश के परिवर्तन के लिए एक बार फिर प्रधानमंत्री के साथ खड़े होने का संकल्प लिया है। जेम एंड ज्वैलरी एक ऐसा क्षेत्र है जो देश की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान देता रहा है। सरकार की हालिया पहल जैसे कि ज्वेलरी पार्क, कॉमन फैसिलिटी सेंटर्स (सीएफसी) और स्किल अपग्रेड सराहनीय हैं; और इस तरह की पहलों ने इस क्षेत्र में जल्द ही एक बड़ी भूमिका निभाने के लिए कमर कस ली है।
जेम एंड ज्वैलरी एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल (GJEPC) के अध्यक्ष, प्रमोद कुमार अग्रवाल ने कहा ‘हम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लोकसभा चुनाव में प्रंचड बहुमत के साथ जीत दर्ज करने व अपने दूसरे कार्यकाल में प्रधानमंत्री के रूप में चुने जाने के लिए हार्दिक बधाई देते हैं। मुझे विश्वास है कि न्यू इंडिया बनाने की उनकी दूरदृष्टि के साथ, वह 2022 तक यानि भारत की आजादी के 75 वें वर्ष तक, सभी क्षेत्रों और व्यवसायों को एक साथ काम करने के लिए उत्साहित करेंगे। न्यूनतम सरकार, अधिकतम शासन के बारे में प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण से इस क्षेत्र के लिए निर्यात में व्यापार करने में आसानी होगी। इस उद्योग का राष्ट्र को समर्थन देने और भारत को सुपर 5 ट्रिलियन अर्थव्यवस्था बनने के लक्ष्य को प्राप्त करने और दुनिया की अग्रणी अर्थव्यवस्थाओं में शामिल होने की योजना है।‘
अग्रवाल ने आगे कहा “मैं पियूष गोयल को भी बधाई देता हूं, जिन्हें केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया है। पियूष गोयल के नेतृत्व और मार्गदर्शन मे, हम इस उद्योग को और अधिक ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए तत्पर हैं।”
उन्होंने आगे कहा “ मैं पीयूष गोयल जी को केंद्रीय वाणिज्य व उद्योग मंत्री और रेलवे मंत्री के रूप में नियुक्त होने पर बधाई देता हूं। पीयूष गोयल ने रत्न तथा आभूषण उद्योग के विकास में अहम भूमिका निभाई है। पिछले कुछ वर्षो में पीयूष गोयल ने कई बाधाओं के बाद भी उद्योग को हर संभव समर्थन दिया है। एमओसी एंड आई के शीर्ष पर एक अनुभवी और निपुण व्यक्ति को पाकर उद्योग बेहद भाग्यशाली है। भारतीय रत्न व आभूषण उद्योग आपके मार्गदर्शन में कार्य करने के लिए उत्साहित है। मुझे विश्वास है कि आपके सक्षम नेतृत्व और मार्गदर्शन में जेम एंड ज्वैलरी क्षेत्र 2022 तक 60 बिलियन अमरीकी डालर के निर्यात औऱ 6 मिलियन रोजगार के अवसर प्रदान करने के अपने लक्ष्य को जरूर प्राप्त करेगा। संपूर्ण रत्न तथा आभूषण उद्योग आपके साथ काम कर माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के न्यू इंडिया विजन में योगदान देने के लिए तैयार है।”
प्रमोद कुमार अग्रवाल ने वित्त मंत्री के रूप में निर्मला सीतारमण के चुने जाने पर उन्हें हार्दिक बधाई दी व आगे बताया कि निर्मला सीतारमण का अनुभव पाकर हमारा उद्योग वास्तव में भाग्यशाली महसूस कर रहा है। पूर्व में वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय में राज्य मंत्री (आईसी) के रूप में रत्न तथा आभूषण उद्योग के विकास व उचित दिशानिर्देश देने के लिए उनके द्वारा शुरू किए गए विभिन्न गतिविधियों ने महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है। देश के लिए इतनी मजबूत औऱ निपुण वित्त मंत्री पाकर उद्योग भी खुश है। साथ ही भारत में व्यापार के फलने-फुलने के लिए अनुकूल महौल बनाने के लिए उद्योग आपके साथ काम करना चाहता है।
जेम एंड ज्वैलरी उद्योग वर्तमान में भारत के कुल जीडीपी में लगभग 7% व व्यापारिक निर्यात में 12% का योगदान देने के साथ- साथ 50 लाख से अधिक लोगों को रोजगार के अवसर प्रदान करता है। उद्योग 40 बिलियन यूएस $ से 60 बिलियन यूएस $ तक निर्यात बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है, इस प्रकार 2022 तक देश की जीडीपी में इस क्षेत्र का योगदान 8% तक पहुंच जाएगा।
भारत का रत्न और आभूषण व्यवसाय लोगों को रोजगार देने के टॉप 3 नियोक्ताओं में से एक है औऱ जीजेईपीसी सरकार से नयी नौकरियों के सृजन, प्रत्यक्ष – अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा करने के लिए सरकार के समर्थन की मांग करती है। परिषद अंतर्राष्ट्रीय व्यापारिक नीतियों पर प्रमुख रचनात्मक सुधारों के लिए, ईज ऑफ डुईंग बिजनेस के लिए तथा एमएसएमई क्षेत्र से जुड़े रत्न और आभूषण निर्यातकों और उद्यमियों के लिए घरेलू/वित्तीय औऱ विनिर्माण/तकनीकी प्रोत्साहन हेतु सरकार का समर्थन जारी रखने की उम्मीद करती है।
जीजेईपीसी सरकार की सहायता से उद्योग से जुड़े निम्निलिखित मुद्दो पर कार्य करती रहेगी –
- इस क्षेत्र में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए सीमा शुल्क, जीएसटी व टैक्स की प्रक्रिया को आसान बनाने की आवश्यकता है। यह सभी प्रमुख निर्यात क्षेत्रों के लिए बड़ी बाधा के रूप में काम कर रहा है।
- जेम एंड ज्वैलरी एक श्रम – प्रधान क्षेत्र है। इस क्षेत्र में रोजगार के अधिक अवसर प्राप्त हो इस उद्देश्य से परिषद हमारे क्षेत्र में उसी तरह के पैकेज की पेशकश करेगी जैसा कि कपड़ा और चमड़ा क्षेत्र को प्रदान किया जाता है।
- निर्यात बढ़ाने के लिए इस क्षेत्र को वित्तपोषण में आसानी की आवश्यकता है।
- SEZ के निर्यात को बढ़ाने के लिए बाबा कल्याणी रिपोर्ट का कार्यान्वयन।
- ई-कॉमर्स, जीएसटी, भारत में रत्न और आभूषण की वस्तुओं की खरीद पर विदेशी पर्यटकों को सीमा शुल्क वापस करना भी एक मुद्दा है, जिसके लिए जीजेईपीसी सरकार के साथ बात करेगी।
- पिछले बजट में घोषित स्वर्ण नीति की शुरूआत करना इस नयी सरकार के लिए प्राथमिकता होनी चाहिए।
- जीजेईपीसी सरकार के स्किल इंडिया मुहिम के साथ काम करेगी ताकि हमारे मौजुदा स्कूलों के माध्यम से कारीगरों को आधुनिक तकनीक से परिचत कराकर उनके कौशल को उन्नत किया जा सके।
जीजेईपीसी की पहल का उद्देश्य - स्थानीय कारीगरों और स्वदेशी डिजाइन और उत्पादन को बढ़ावा देकर भारत को एक वैश्विक रत्न और आभूषण निर्माण केंद्र बनाना है। जीजेईपीसी ने पहले ही गुजरात के विसनगर, पालनपुर, अमरेली और जूनागढ़ में सीएफसी स्थापित किए हैं। जीजेईपीसी की 2019-2020 तक दिल्ली, कोलकाता, जयपुर और हैदराबाद में सीएफसी स्थापित करने की योजना है। परिषद सभी सरकारी मंत्रालयों और निकायों और इकाइयों के साथ मिलकर काम करेगी ताकि इस क्षेत्र का व्यापार अधिक बेहतरी के साथ - साथ निर्बाध रूप से संचालिक हो सके।
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