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Saturday, November 3, 2018

प्रधानमंत्री ने एमएसएमई सेक्‍टर के लिए 12 महत्‍वपूर्ण घोषणाएं कीं


for msme sector Prime Minister Narendra Modi has declared 12 important majors



  • प्रधानमंत्री ने 12 महत्‍वपूर्ण घोषणाएं कीं
  • एमएसएमई को आसानी से ऋण उपलब्‍ध कराने के लिए 59 मिनट का लोन पोर्टल
  • सीपीएसई को एमएसएमई से 25 प्रतिशत की खरीदारी करना अनिवार्य होगा
  • कंपनी अधिनियम के तहत छोटे आर्थिक अपराधों से जुड़ी प्रक्रियाओं के सरलीकरण के लिए अध्‍यादेश

   प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी ने  सूक्ष्‍म, लघु एवं मझोले उद्यम (एमएसएमई) सेक्‍टर के लिए एक ऐतिहासिक सहयोग एवं संपर्क कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इस कार्यक्रम के तहत प्रधानमंत्री ने 12 महत्‍वपूर्ण घोषणाएं की हैं, जिनसे देश भर में एमएसएमई के विकास और विस्‍तार के साथ-साथ उन्‍हें सहूलियतें देने में मदद मिलेगी।
प्रधानमंत्री ने एमएसएमई सेक्‍टर के लिए  सहयोग एवं संपर्क कार्यक्रम का शुभारंभ किया 
    प्रधानमंत्री ने कहा कि  वह जिन 12 निर्णयों की घोषणा कर रहे हैं, वे एमएसएमई क्षेत्र के लिए एक नया अध्‍याय साबित होंगे। प्रधानमंत्री ने यह बात रेखांकित की कि एमएसएमई भारत के प्रमुख रोजगार दाताओं में से एक हैं। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर लुधियाना की होजरी और वाराणसी की साड़ियों सहित लघु उद्योगों की गौरवशाली भारतीय परम्‍पराओं का स्‍मरण किया।
    प्रधानमंत्री ने कहा कि केन्‍द्र सरकार द्वारा लागू किए गए आर्थिक सुधारों की सफलता को ‘कारोबार में सुगमता’ सूचकांक में भारत द्वारा लगाई गई ऊंची छलांग में देखा जा सकता है। उन्‍होंने कहा कि इस सूचकांक में भारत चार वर्षों में 142वें पायदान से ऊपर चढ़कर 77वें पायदान पर पहुंच गया है।
   प्रधानमंत्री ने कहा कि एमएसएमई क्षेत्र की सहूलियत से जुड़े पांच महत्‍वपूर्ण पहलू हैं। इनमें ऋणों तक पहुंच, बाजार तक पहुंच, तकनीकी उन्‍नयन, कारोबार में सुगमता और कर्मचारियों के लिए सुरक्षा की भावना शामिल हैं। उन्‍होंने कहा कि इस सेक्‍टर को दीपावली के उपहार के रूप में वह 12 घोषणाएं कर रहे हैं, जिनसे इन पांचों पहलुओं में से प्रत्‍येक का निदान निकल आएगा।

ऋणों तक पहुंच
    प्रथम घोषणा के रूप में प्रधानमंत्री ने एमएसएमई को आसानी से ऋण उपलब्‍ध कराने के लिए 59 मिनट के लोन पोर्टल का शुभारंभ करने का ऐलान किया। उन्‍होंने कहा कि इस पोर्टल के जरिए सिर्फ 59 मिनट में एक करोड़ रुपये तक के ऋणों को सैद्धांतिक मंजूरी दी जा सकती है। उन्‍होंने कहा कि जीएसटी पोर्टल के जरिए इस पोर्टल का एक लिंक उपलब्‍ध कराया जाएगा। प्रधानमंत्री ने विशेष जोर देते हुए कहा कि ‘नये भारत’ में किसी को भी बार-बार बैंक के चक्‍कर नहीं काटने पड़ेंगे।   
     
     प्रधानमंत्री ने दूसरी घोषणा के रूप में सभी जीएसटी पंजीकृत सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) के लिए दो प्रतिशत ब्याज सब्सिडी देने का उल्लेख किया। शिपमेंट से पूर्व और शिपमेंट के बाद की अवधि में ऋण लेने वाले निर्यातकों के लिए प्रधानमंत्री ने ब्याज की छूट तीन प्रतिशत से बढ़ाकर पांच प्रतिशत करने की घोषणा की।
    प्रधानमंत्री की तीसरी घोषणा यह थी कि पांच सौ करोड़ रुपये से अधिक टर्नओवर वाली सभी कंपनियों को अब आवश्यक रूप से व्यापार प्राप्तियां ई-डिस्काउंटिंग प्रणाली (टीआरईडीएस) पोर्टल में शामिल किया जाए। उन्होंने कहा कि इस घोषणा में शामिल होने से उद्यमी अपनी आगामी प्राप्तियों के आधार पर बैंकों से ऋण ले सकेंगे। इससे उनके नकदी चक्र की समस्याएं हल हो जाएंगी।
बाजारों तक पहुंच
   प्रधानमंत्री ने कहा कि उद्यमियों की बाजार तक पहुंच के लिए केंद्र सरकार ने पहले ही अनेक कदम उठाए हैं। इस संदर्भ में उन्होंने चौथी घोषणा यह की कि सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियां को अब 20 प्रतिशत की बजाय अपनी कुल खरीदारी की 25 प्रतिशत खरीदारी एमएसएमई से करने के लिए कहा गया है।
   प्रधानमंत्री की पांचवी घोषणा महिला उद्यमियों से संबंधित हैं। उन्होंने कहा कि एमएसएमई से की गई आवश्यक 25 प्रतिशत खरीदारी में से 3 प्रतिशत खरीदारी अब महिला उद्यमियों के लिए आरक्षित की गई हैं।
   प्रधानमंत्री ने कहा कि डेढ़ लाख से अधिक आपूर्तिकर्ता अब जीईएम के साथ पंजीकृत हैं इनमें से 40 हजार एमएसएमई हैं। उन्होंने कहा जीईएम के माध्यम से अभी तक 14,000 करोड़ से भी अधिक मूल्य का लेनदेन हुआ है। उन्होंने छठी घोषणा यह की है कि केंद्र सरकार के सभी सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रमों को अब आवश्यक रूप से जीईएम का हिस्सा होना चाहिए। उन्होंने कहा कि उन्हें अपने सभी विक्रेताओं को जीईएम से पंजीकृत कराना चाहिए।
प्रौद्योगिकी उन्नयन
   प्रौद्योगिकी उन्नयन के बारे में प्रधानमंत्री ने कहा कि पूरे देश में स्थित टूल रूम्स अब उत्पाद डिजाइन के महत्वपूर्ण हिस्से हैं। उनकी सातवीं घोषणा यह थी कि पूरे देश में 22 केंद्र बनाए जाएंगे और टूल रूम के रूप में 100 स्पोक्स स्थापित किए जाएंगे।   
कारोबार में सुगमता
   कारोबार की सुगमता के बारे में प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी 8वीं घोषणा फार्मा कंपनियों के बारे में है। उन्‍होंने कहा कि फार्मा क्षेत्र के सूक्ष्‍मलघु एवं मध्‍यम उद्योगों (एमएसएमई) के लिए क्‍लस्‍टर बनाये जायेंगे। उन्‍होंने कहा कि इन क्‍लस्‍टर के निर्माण की लागत का 70 प्रतिशत केन्‍द्र सरकार वहन करेगी।
   प्रधानमंत्री ने कहा कि 9वीं घोषणा सरकारी प्रक्रियाओं के सरलीकरण के बारे में है। उन्‍होंने कहा कि 9वीं घोषणा यह है कि आठ श्रम कानूनों और 10 केन्‍द्रीय नियमों के तहत रिटर्न अब साल में एक ही बार फाइल किये जायेंगे।
    प्रधानमंत्री ने कहा कि 10वीं घोषणा यह है कि अब प्रतिष्‍ठानों का निरीक्षक द्वारा किये जाने वाला दौरा कंप्‍यूटर आधारित औचक आवंटन के जरिये तय किया जायेगा।
   प्रधानमंत्री ने कहा कि इकाई स्‍थापित करने के संबंध में उद्यमियों को दो क्‍लीयरेंस की जरूरत होती है- पर्यावरण क्‍लीयरेंस और इकाई स्‍थापित करने की रजामंदी। उन्‍होंने कहा कि 11वीं घोषणा यह है कि वायु प्रदूषण और जल प्रदूषण नियमों के तहत इन दोनों क्‍लीयरेंस को एकल अनुमति में समाविष्‍ट कर दिया गया है। उन्‍होंने कहा कि रिटर्न, स्‍व–प्रमाणीकरण के जरिये स्‍वीकार किया जायेगा।
  12वीं घोषणा के रूप में प्रधानमंत्री ने उल्‍लेख किया कि एक अध्‍यादेश लाया गया है, जिसके तहत कंपनी अधिनियम के संबंध में मामूली उल्‍लंघनों के लिए उद्यमी को अदालतों के चक्‍कर नहीं लगाने होंगे। उन्‍हें आसान प्रक्रियाओं के तहत दुरुस्‍त कर लिया जायेगा।
एमएसएमई सेक्‍टर के कर्मचारियों के लिए सामाजिक सुरक्षा
   प्रधानमंत्री ने एमएसएमई के सेक्‍टर के कर्मचारियों के लिए सामाजिक सुरक्षा का भी उल्‍लेख किया है। उन्‍होंने कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए एक मिशन शुरू किया जायेगा कि उन्‍हें जन-धन खाता, भविष्‍य निधि और बीमा उपलब्‍ध हो।
   प्रधानमंत्री ने कहा कि इन फैसलों से भारत में एमएसएमई सेक्‍टर को मजबूत बनाने में सहायता होगी। उन्‍होंने कहा कि अगले 100 दिनों के दौरान इस आउटरीच कार्यक्रम के कार्यान्‍वयन की गहन निगरानी की जायेगी।            

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