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Saturday, April 25, 2020

सरकारी गली से निकला शराब की कालाबाजारी का रास्ता


Black marketing of liquor in Rajasthan




जयपुर। लॉकडाउन के चलते प्रदेश में अन्य गैर आवश्यक सामान की तरह शराब की दुकानें भी 22 मार्च से बंद हैं। नित्य प्रतिदिन शराब का सेवन करने वालों के लिए शराब की पूर्ति आवश्यक है। इस मांग के चलते एक शराब की बोतल की कीमत काला बाजार में 3 से 4 गुना हो गई। ऐसे में आम लोगों का मानना है कि शराब की बिक्री नहीं होने से सरकार को भी राजस्व का बड़ा नुकसान झेलना पड़ा है। शराब के पुराने लाइसेंसीयों के पास स्टॉक पड़ा था वह उन्होंने काम में लिया।
वहीं नए लाइसेंसी के लिए सरकार की एक गली काम आई।
14 अप्रैल को जारी आबकारी विभाग का आदेश
  14 अप्रैल को आबकारी विभाग की ओर से एक आदेश जारी किया गया था। इस आदेश में कहा गया था कि राजस्थान स्टेट ब्रेवरीज कॉरपोरेशन एवं राजस्थान स्टेट गंगानगर शुगर मिल्स के विभिन्न गोदामों में अंग्रेजी और देशी शराब भरी पड़ी है। वही गोदामों के बाहर बड़ी मात्रा में शराब से भरे ट्रकों का खड़ा होना भी बताया गया था। इस आदेश में जगह की कमी और चोरी से राजस्व हानि का हवाला देते हुए लाइसेंसी को माल उठाने की इजाजत दे दी गई। इस आदेश में यह भी कहा गया है कि शराब की किसी को भी बिक्री नहीं की जानी चाहिए।
    ऐसे में सवाल उठता है कि क्या आबकारी विभाग के पास शराब के गोदामों व ट्रकों की सुरक्षा करने के लिए पर्याप्त सुरक्षा बल नहीं था? या 14 अप्रैल को ही गोदामों में जगह की कमी हो गई थी।
   इस आदेश के बाद धड़ाधड़ गोदामों से शराब का उठाव हुआ। सरकार को राजस्व की प्राप्ति हो गई। नये लाइसेंसी को तीन से चार गुना ऊंचे दामों पर बेचने के लिए शराब की प्राप्ति हो गई।
   यह होना चाहिए जांच का विषय
    अब तक आबकारी विभाग दिन प्रतिदिन सांसी समुदाय के लोगों व अन्य शराब के अवैध कारोबारियों को पकड़ रहा है। लेकिन अब विभाग को यह जांच करनी चाहिए कि जो नई लाइसेंसी द्वारा माल उठाया गया है वह यथास्थिति है कि नहीं।
ऐसा नहीं होने पर नये लाइसेंसी का लाइसेंस रद्द होना चाहिए। वही निष्पक्ष रूप से सरकार और विभाग के खिलाफ यह जांच होनी चाहिए कि उन्होंने की इस आदेश से उन्होंने गैर अनुचित लाभ तो प्राप्त नहीं किया है। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार सीकर में नए लाइसेंस होने तीन से चार गुना दामों पर शराब की कालाबाजारी की है। ऐसा ही राज्य के अन्य जिलों में होना संभावित है। वहीं यह भी पता चला है कि लाइसेंसी द्वारा एक बार माल खत्म होने के बाद दोबारा गोदाम से माल उठाया गया है।
आदेश की छाया प्रति

 

  


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